योग गुरु सुहानी सुराणा बनी प्रोकैम स्लैम चैंपियन।

योग गुरु सुहानी सुराणा बनी प्रोकैम स्लैम चैंपियन।

6 घंटे 30 मिनट से पहले पूरी की 42 किमी की मैराथन।  10, 21, 25, 42 की चार मैराथन को  कंप्लीट कर किया अपना सपना पूरा

प्रोकैम स्लैम जीतना मेरे लिए बहुत ही बड़ा अचीवमेंट है । जब लास्ट रन मैंने पूरा किया और मेडल मिला तो मेरी खुशी का ठिकाना नहीं था – सुहानी सुराणा

   जावरा (राजकुमार हरण)  रनर्स के लिए रनिंग सिर्फ फिट रहने का जरिया नहीं है, इससे उनके भीतर एक पॉजिटिव एनर्जी आती है । रनिंग से स्ट्रैस भी दूर होता है और दिमाग भी जिंदगी की अन्य समस्याओं का सामना करने के लिए रेडी हो जाते हैं । रनिंग में इन्ही सब फायदो की वजह से कई लोग इससे जुड़े हैं कुछ स्लो रनिंग करते हैं, तो कुछ ग्रुप में। सुहानी सुराणा ने बताया कि मैं एक योगा ट्रेनर हूं । इसलिए मैं रनिंग से जुड़ी, इस लिए रनिंग से मेरे अंदर हैप्पी हार्मोन डेवलप होते है। प्रोकैम स्लैम जीतना मेरे लिए बहुत ही बड़ा अचीवमेंट है । जब लास्ट रन मैंने पूरा किया और मेडल मिला तो मेरी खुशी का ठिकाना नहीं था। सबसे ज्यादा चैलेंजिंग होता है चार इवेंट में भाग लेना मेरे लिए फिजिकल से ज्यादा यह मेंटली चैलेंजिंग था 5 से 6 घंटे भागना आसान नहीं। आपकी बॉडी भी गिवअप करने लगती है 20-25 कि.मी. दौड़ने के बाद  मेरे पैरों में कैंप आने लगे थे लेकिन मैंने अपनी आंखों के सामने फिनिशिंग लाइन इमेजिंग किया और चैलेंज पूरा किया ।

कैसे बन सकते हैं प्रोकैम स्लैम:- सुश्री सुहानी  बताया की प्रोकैम स्लैम  चैंपियन बनने के लिए एक रनर को  दी गई समय सीमा के भीतर चार दौड़ पूरी करनी होगी जो नीचे बताई गई है ।

1. टसीएस वर्ल्ड बैंगलोर दोड़ – इसमें रनर को 1 घंटे 30 मिनट में से कम समय में 10 किलोमीटर की दौड़ पूरी करनी होती है ।

2.  दिल्ली हाफ मैराथन- इस 21 किलोमीटर की मैराथन को 3 घंटे 30 मिनट से कम समय में पूरा करना होता है ।

3. टाटा स्टील कोलकाता मैराथन – 25 किलोमीटर की दूरी तय करने के लिए 4 घंटे का समय दिया जाता है ।

4. टाटा मुंबई मैराथन – 42 किलोमीटर  की इस मैराथन को 6 घंटे 30 मिनीट से कम समय में पूरा करना आवश्यक है ।

सुहानी की इस उपलब्धि पर शहर के योग गुरुओं के साथ ही परिवार जनों व मित्रों ने भूरि भूरि प्रसंशा कर बधाइयां प्रेषित की है व उनके बेहतर भविष्य की कामना की है।

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